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(योगेश पांडे)










हल्द्वानी पूर्व पार्षद हितेश पांडे वार्ड 16 रामलीला मोहल्ला ने बताया कि किस तरह दबंगई दिखाते हुए एक दूसरे समुदाय के व्यक्ति मोहमद यासीन के वारिसों ने काला ढूंगी में हरि दत्त पाठक के वारिसों की भूमि हड़प कर खरीदारी के कोई भी अभिलेख न होते हुए भी पारी वारिक घर तक का बटवारा कर दिया , और दबंगई दिखा कब्जा करने का प्रयास किया l पूर्व मे हितेश पांडेय पुलिस कप्तान से मिलकर इस संदर्भ मे अपनी बात बता चुके हैंlj उन्होंने बताया कि पुलिस को यासीन गुमराह कर रहा है, इस पर भी पुलिस मुकदमा दर्ज नहीं कर रही है l हितेश ने इन विरोधा भाषी बयामो के संदर्भ मे वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक को पुनः शिकायत पत्र दिया है सेवा में,
श्रीमान वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक महोदय,
नैनीताल, जिला नैनीताल
विषय:- कालाढूंगी थाना व तहसील से संबंधित भूमि में लैण्ड फ्राड, धोखाधड़ी व मानसिक उत्पीड़न के संबंध में।
महोदय,
सविनय निवेदन इस प्रकार है कि प्रार्थी हितेश पाण्डे पुत्र श्री दया किशन पाण्डे निवासी रामलीला मोहल्ला वार्ड नं. 16, हल्द्वानी, जिला नैनीताल का है तथा बच्चीपुर धमोला कालाढूंगी में 0.2590 रकवा व खतौनी सं. 00022, विजय किशोर, निर्मल किशोर, मनोज, पुत्रगण स्व. गोपाल दत्त व मोहित, रोहित, साकेत पुत्रगण स्व. मोहन चन्द्र व शशि पाठक पत्नी स्व. मोहन चन्द्र के खातेदारों का मुख्तारेआम नियुक्त है, चूंकि उक्त वर्णित रकबे की भूमि वर्ग 1;कद्ध संक्रमणीय अधिकारों वाली भूमि है तथा उक्त भूमि के विजय किशोर, निर्मल किशोर, मनोज, पुत्रगण स्व. गोपाल दत्त व मोहित, रोहित, साकेत पुत्रगण स्व. मोहन चन्द्र व शशि पाठक पत्नी स्व. मोहन चन्द्र के नाम पर स्व. हरिदत्त पाठक से विरासतन सहखातेदार चली आ रही हैं, उक्त वर्णित भूमि में गैर कानूनी तरीके से मौ0 यामीन के वारिसानों द्वारा स्वयं को उक्त भूमि का खरीददार व कभी प्रतिकूल कब्जेदार बताते हुए उक्त भूमि को हड़पने व कब्जा करने की साजिश की जा रही है। जिस पर प्रार्थी द्वारा एक शिकायती पत्र दिनांकित 09-07-2024 को प्रभारी निरीक्षक महोदय कालाढूंगी जिला नैनीताल को तथा प्रतिलिपि श्रीमान वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक महोदय नैनीताल को प्रेषित की गयी थी। उक्त पत्र में कार्यवाही के संबंध में प्रार्थी द्वारा सूचना का अधिकार के माध्यम से जानकारी चाही तो प्रार्थी को उक्त पत्र में की गयी कार्यवाही के संबंध में दस्तावेज दिये जिन्हें देखकर प्रार्थी के संज्ञान में आया कि उक्त मौ0 यामीन के वारिसानों द्वारा स्वयं को उक्त भूमि का स्वामी व हरिदत्त पाठक से उक्त भूमि का खरीददार बताया गया है व उसकी आधार पर वर्णित भूमि को मौ0 यासीन पुत्र मौ0 यामीन को मौ0 यामीन की मृत्यु के पश्चात पारिवारिक घर बटवारे के आधार पर उक्त भूमि का मालिक काबिज काश्तकार बताया गया है, परन्तु उक्त भूमि के स्वामित्व के संबंध में कोई भी दस्तावेज प्रस्तुत नहीं किया है।
महोदय आपके संज्ञान में लाना चाहता हूं कि उक्त मौ0 यामीन के वारिसानों द्वारा कभी तो विवादित भूमि को मौ. यामीन द्वारा स्व0 हरिदत्त पाठक से खरीदना बताया गया है तथा उनके द्वारा एक वाद 229बी में अपने वाद पत्र में प्रतिकूल कब्जेदार बताते हुए उक्त भूमि पर मालिकाना हक हेतु योजित किया गया है। महोदय मौ0 यासीन व उसके परिजन जो कि मौ0 यामीन के वारिस हैं द्वारा विरोधाभासी कथन किये जा रहे हैं तथा उक्त भूमि के स्वामित्व के संबंध में कोई भी दस्तावेज इनके द्वारा प्रस्तुत नहीं किया जा रहा है। मात्र झूठे तथ्यों के आधार पर पटवारी से प्रपत्र प, क-24 के द्वारा अपने को उक्त भूमि का कब्जेदार होना दर्शित करवा लिया गया है जबकि उक्त प्रपत्र में भी तीन कब्जेदार उक्त भूमि हेतु दर्शाये गये हैं जिसमें एक कब्जेदार शमशुद्दीन पुत्र खुदाबक्श दर्शित है जो कि मौ0 यामीन का वारिसान नहीं है। उक्त लोगों द्वारा उक्त वर्णित सहखातेदारी की भूमि को हड़पने की नियत से षड़यंत्र कर पूर्व समय के पटवारी से सांठ-गांठ कर कब्जे की झूठी रिर्पोट तहरीर करवा ली गयी, चूंकि पूर्व में व वर्तमान में उक्त भूमि पर भौतिक रूप से कोई निवास नहीं करता है, स्थानीय व रसूखदार होने का लाभ लेकर उक्त मौ0 यामीन द्वारा उक्त भूमि को हड़पने की नियत से षड़यंत्र किया जा रहा है।
महोदय यह भी उल्लेखनीय है कि मौ. यासीन पुत्र मौ0 यामीन के परिजन जिनमें इमरान अंसारी पुत्र मौ0 यासीन व मौ0 मनसूद पुत्र मौ0 यासीन व तरन्नुम मलिक पत्नी मौ0 मनसूद सभी लोग उत्तराखण्ड पुलिस विभाग में हैं व आस-पास के भूखण्डों में उनके परिजनों के होने व उक्त क्षेत्र मुस्लिम बाहुल्य होने के कारण ये लोग धोखाधड़ी, दबंगई व कूटकथनों द्वारा विभागां को गुमराह करते हुए उक्त वर्णित भूमि को हड़पने का प्रयास कर रहे हैं।
महोदय, उक्त मामले में मोहम्मद यासीन व अजीम मुस्सान पुत्रगण मौ0 यामीन के बयानों की समीक्षा से भी स्पष्ट है कि उनके द्वारा झूठे तथ्यों के आधार पर गुमराह करते हुए निरन्तर विभागों को विरोधाभासी बयान करते हुए धोखाधड़ी व मानसिक उत्पीड़न किया गया है। प्रार्थी द्वारा दिये गए शिकायती पत्र दिनांकित 09-07-2024 व उसको समर्थन कर रहे संलग्न साक्ष्यों व प्रार्थी द्वारा इस शिकायती पत्र में उल्लेखित तथ्यों को अवलोकन करते हुए गहनता से जांच कराने में स्वतः स्पष्ट हो जाएगा कि उनके द्वारा खुल्लम खुल्ला सुस्पष्ट धोखाधड़ी की जा रही है। जबकि उक्त पत्र पर विभाग द्वारा सरसरी तौर पर बयानों को अंकित करते हुए धोखाधड़ी का न होना बताया गया है व प्रकरण को सिविल प्रवृत्ति का दर्शा दिया गया है।
अतः महोदय से निवेदन है धोखाधड़ी व कूटकथनों से विभाग को गुमराह करने वाले मौ0 यामीन के वारिसान , अजीम मुस्सान, असफाक अहमद, खलील अहमद, तसलीम अहमद, रईस अहमद व मौ0 यासीन के विरू( उचित कानूनी कार्यवाही करते हुए मुकदमा दर्ज करने की कृपा करे l
दिनांक:
पूर्व पार्षद हितेश इस मामले की गहनता से जांच कर पुलिस व प्रशासन से अपील कर चुके हैं, चूंकि समाचार लिखे जाने तक प्रशासन की तरफ से कोई कारवाई नहीं की गई थी ll क्रमश

